29 मार्च 2025 शनिवार पंचांग: अमावस्या विशेष और नव चंद्र मास का आरंभ

आज का पंचांग 29 मार्च 2025 शनिवार
29 मार्च 2025, शनिवार का दिन अमावस्या के कारण विशेष रूप से महत्वपूर्ण है। इस दिन कृष्ण पक्ष अमावस्या समाप्त होगी और शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा का आरंभ होगा, जिससे नया चंद्र मास प्रारंभ होगा। अमावस्या का दिन पितरों की शांति, दान-पुण्य, और आध्यात्मिक साधना के लिए उत्तम माना जाता है। इस दिन गण्डमूल नक्षत्र और ब्रह्म योग भी उपस्थित हैं, जो इसे और भी प्रभावशाली बनाते हैं। आइए जानते हैं इस दिन का संपूर्ण पंचांग, शुभ मुहूर्त, और ज्योतिषीय विशेषताएँ।
📅 29 मार्च 2025 का पंचांग
- 🔹 विक्रम संवत – 2082, कालयुक्त
- 🔹 शक संवत – 1946, क्रोधी
- 🔹 पूर्णिमांत मास – चैत्र
- 🔹 अमांत मास – फाल्गुन
- 🔹 वैदिक ऋतु – शिशिर
- 🔹 द्रिक ऋतु – वसंत
🌕 तिथि एवं नक्षत्र
तिथि:
- कृष्ण पक्ष अमावस्या – 28 मार्च, 07:55 PM से 29 मार्च, 04:27 PM तक
- शुक्ल पक्ष प्रतिपदा – 29 मार्च, 04:27 PM से 30 मार्च, 12:49 PM तक
नक्षत्र:
- उत्तरभाद्रपदा – 28 मार्च, 10:09 PM से 29 मार्च, 07:26 PM तक
- रेवती (गण्डमूल नक्षत्र) – 29 मार्च, 07:26 PM से 30 मार्च, 04:35 PM तक
करण:
- नाग – 29 मार्च, 06:13 AM से 29 मार्च, 04:27 PM तक
- किस्तुघन – 29 मार्च, 04:27 PM से 30 मार्च, 02:39 AM तक
- बव – 30 मार्च, 02:39 AM से 30 मार्च, 12:49 PM तक
🕉️ शुभ और अशुभ मुहूर्त
✅ शुभ मुहूर्त:
- अभिजीत मुहूर्त – 12:07 PM – 12:55 PM
- अमृत काल – 03:10 PM – 04:35 PM
- ब्रह्म मुहूर्त – 04:48 AM – 05:36 AM
❌ अशुभ मुहूर्त:
- राहु काल – 09:28 AM – 11:00 AM
- यम गण्ड काल – 02:03 PM – 03:34 PM
- गुलिक काल – 06:25 AM – 07:57 AM
- दुर्मुहूर्त – 08:03 AM – 08:52 AM
- वर्ज्यम् – 06:40 AM – 08:05 AM, 06:00 AM – 07:25 AM
🌞 सूर्य और चंद्रमा की स्थिति
- सूर्योदय – 06:25 AM
- सूर्यास्त – 06:37 PM
- चंद्रोदय – 06:06 AM
- चंद्रास्त – 06:42 PM
- सूर्य राशि – मीन
- चंद्र राशि – मीन (पूरा दिन)
🔮 ज्योतिषीय योग और प्रभाव
🌑 अमावस्या का महत्व:
अमावस्या को पितृ तर्पण, श्राद्ध, और दान-पुण्य के लिए विशेष रूप से शुभ माना जाता है। इस दिन किया गया दान और पूजा कई गुना फलदायी होता है। इस दिन नकारात्मक ऊर्जा अधिक प्रभावी होती है, इसलिए ध्यान, मंत्र जाप और हवन करने से सकारात्मक ऊर्जा प्राप्त होती है।
✨ गण्डमूल नक्षत्र का प्रभाव:
रेवती नक्षत्र 29 मार्च, 07:26 PM के बाद प्रारंभ होगा, जो गण्डमूल नक्षत्रों में से एक है। इस नक्षत्र में जन्म लेने वाले जातकों के लिए विशेष शांति पूजा आवश्यक होती है। इस दिन जन्म लेने वाले शिशु के लिए गण्डमूल शांति पूजा कराने की सलाह दी जाती है।
📿 शुभ योग:
- ब्रह्म योग – 29 मार्च, 02:06 AM से 29 मार्च, 10:03 PM तक रहेगा।
- इन्द्र योग – 29 मार्च, 10:03 PM से 30 मार्च, 05:53 PM तक रहेगा।
- प्रजापति योग (धाता) – रात्रि 07:26 PM के बाद प्रभावी रहेगा।
🌓 चंद्रमा का राशि प्रभाव:
चूँकि चंद्रमा मीन राशि में संचार करेगा, इसका प्रभाव निम्नलिखित राशियों पर पड़ेगा:
- मेष, सिंह, और धनु राशि वालों को मानसिक शांति मिलेगी और आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
- वृषभ, कन्या, और मकर राशि वालों को वाणी और स्वास्थ्य का ध्यान रखना चाहिए।
- मिथुन, तुला, और कुंभ राशि वालों के लिए यह दिन व्यापार और करियर में उन्नति लेकर आएगा।
🌿 29 मार्च 2025 को क्या करें और क्या न करें?
✅ क्या करें?
✔ पितृ तर्पण करें और नदी या पवित्र स्थल पर अर्पण करें।
✔ सूर्य उपासना करें और गायत्री मंत्र का जाप करें।
✔ दान-पुण्य करें, विशेष रूप से तेल, तिल, काले वस्त्र और अनाज का दान करें।
✔ शनि देव की पूजा करें, क्योंकि यह शनिवार है और अमावस्या भी है।
✔ गण्डमूल नक्षत्र के प्रभाव को कम करने के लिए भगवान गणेश की पूजा करें।
❌ क्या न करें?
❌ राहु काल में शुभ कार्य न करें।
❌ इस दिन बाल कटवाने और नाखून काटने से बचें।
❌ किसी को उधार या कर्ज न दें, इससे धन हानि हो सकती है।
❌ कोई बड़ा निर्णय न लें, विशेष रूप से गण्डमूल नक्षत्र के दौरान।
🔆 निष्कर्ष
29 मार्च 2025 का दिन धार्मिक, ज्योतिषीय और आध्यात्मिक दृष्टि से अत्यंत महत्वपूर्ण है। अमावस्या, शनि वार, और गण्डमूल नक्षत्र का संयोग इस दिन को विशेष बना रहा है। यदि आप इस दिन दान, श्राद्ध, पूजा, और मंत्र जाप करते हैं, तो आपको उत्तम फल की प्राप्ति होगी। इस दिन किए गए सत्कर्म आपको जीवन में सकारात्मक ऊर्जा देंगे। 🚀✨
आप सभी को मंगलमय दिन की शुभकामनाएँ! 🙏
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